प्रशांत बोस की गिरफ्तारी के विरोध में झारखंड पुलिस को जवाब
लिखा-बोस और शीला की गिरफ्तारी के विरोध में किया गया है
गुमला। एक करोड़ के ईनामी नक्सली प्रशांत बोस उर्फ किशन दा ऊर्फ बूढ़ा और उसकी पत्नी की गिरफ्तारी के विरोध में नक्सलियों तीन दिन का बंद बुलाया था। बंद को देखते हुए झारखंड पुलिस ने सभी जिलों के एसपी को निर्देश दिया था कि पुलिस को अलर्ट मोड पर रखे। बंद को लेकर पुलिस भी पूरी तरह चौकस थी। इसी बीच पुलिस चौकसी को धत्ता बताते हुए बंद के अंतिम दिन गुरूवार की देर रात नक्सलियों ने कुरुमगड़ थाना के नए निमार्णाधीन भवन को बम से उड़ा दिया। और वहां पोस्टर लगा कर पुलिस को चुनौती भी दी है। पोस्टर में लिखा है कि यह प्रशांत बोस और उनकी पत्नी शीला की गिरफ्तारी का जवाबी हमला है। इस घटना के बाद से पूरे क्षेत्र में दहशह का माहौल है। जब यह घटना हुई उस समय वहॉ से मात्र 2 किलोमीटर दूर स्कूल भवन में 200 से ज्यादा पुलिस के जवान मौजूद थे। किन्हीं को घटना की भनक तक नहीं लग सकी। नक्सली घटना को अंजाम देकर मौके से फरार हो गए। हालांकि पुलिस ने अभी तक इसकी आधिकारिक पुष्टी नहीं की है।
केन बम से उड़ाया भवन
थाने के निर्माण कार्य में जुटे एक मजदूर ने बताया कि रात के 12 बजे के करीब अचानक 50 की संख्या में हथियारबंद नक्सली यहां पहुंचे। एक मजदूर को बाहर निकलवाया और सभी को तुरंत थाना भवन खाली करने का आदेश दिया। जैसे ही मजदूर वहां से निकले उन्होंने केन बम लगाकर थाना भवन को उड़ा दिया।
अधिकारी पहुंचे घटनास्थल पर
वहीं कुमरुमगढ़ थाना प्रभारी ने सुबह घटना की पूरी जानकारी जिले के अधिकारियों को दी। इसके बाद पुलिस हेडक्वार्टर को भी इसकी सूचना दी गई है।
पुलिस के आला अधिकारी घटना स्थल पर पहुंच कर निरीक्षण किया।